लखनऊ। उत्तर प्रदेश के विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के द्वारा गुरुवार रात 10 बजे से 72 घंटे की सांकेतिक हड़ताल जारी है। विद्युत् कर्मचारियों और अधिकारियों द्वारा 72 घंटे के लिए हड़ताल पर चले जाने से कई बिजली घरों पर ताले लटके मिले। बिजली आपूर्ति बाधित होने के कारण लोगों के सामने बिजली पानी की समस्या खड़ी हो गई। इस हड़ताल का असर सबसे ज्यादा पश्चिमी यूपी में देखने को मिला। बिजनौर के धामपुर विद्युत सर्किल के सभी 47 बिजली घरों पर ताले लटके हुए मिले। मुजफ्फरनगर के जानसठ और शाहपुर में बिजली आपूर्ति बाधित हुई है।
अपने मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे कर्मी
बता दें कि बिजलीकर्मियों द्वारा मांग की जा रही है कि कार्यरत एवं सेवानिवृत्त बिजलीकर्मियों के घरों पर मीटर नहीं लगाया जाए। विद्युत उत्पादन एवं पारेषण की निजीकरण की प्रक्रिया को तुरंत निरस्त कर दिया जाए। ओबरा एवं अनपरा में 800-800 मेगावाट क्षमता की दो-दो इकाइयों के निर्माण, परिचालन एवं अनुरक्षण का कार्य एनटीपीसी या किसी अन्य इकाई के बजाय उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उत्पादन निगम को सौंपा जाए। इसके अलावा बिजली कर्मियों की पुरानी पेंशन व्यवस्था लागू की जाए। इसके साथ ही तेलंगाना व राजस्थान की तरह संविदा कर्मियों को नियमित किया जाए।