लखनऊ। उमेश पाल हत्याकांड में नामजद आरोपी अतीक और उसके भाई अशरफ की शनिवार रात को तीन हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी। मेडिकल जांच के लिए अस्पताल जा रहे अतीक और अशरफ की सरेआम हत्या कर दी गई। इससे पहले अतीक का बेटा असद पुलिस एनकाउंटर में मारा गया था। जबकि अतीक की […]
लखनऊ। उमेश पाल हत्याकांड में नामजद आरोपी अतीक और उसके भाई अशरफ की शनिवार रात को तीन हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी। मेडिकल जांच के लिए अस्पताल जा रहे अतीक और अशरफ की सरेआम हत्या कर दी गई। इससे पहले अतीक का बेटा असद पुलिस एनकाउंटर में मारा गया था। जबकि अतीक की पत्नी शाइस्ता परवीन अब तक फरार है। शाइस्ता के ऊपर 50 हज़ार का इनाम भी घोषित है। आपको बता दें कि अपने बेटे और पति की मौत पर भी शाइस्ता परवीन जनाजे में शामिल होने नहीं आई।
मालूम हो कि पुलिस इस फ़िराक़ में थी कि बेटे और पति की मौत पर शाइस्ता उन्हें आखिरी बार देखने आयेंगी। जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा लेकिन वो आई ही नहीं। वहीं अब इस्लाम के नियम के मुताबिक शाइस्ता को कुछ ऐसा करना पड़ेगा, जिससे उसका पुलिस पकड़ में आना मुश्किल लग रहा है।
दरअसल इस्लाम के नियम के मुताबिक अगर किसी औरत का पति मर जाता है तो औरत को इद्दत करना पड़ता है। शरीयत के अंदर इद्दत बेहद जरूरी है। औरत चाहे पुलिस कस्टडी में हो या कैसी भी स्थिति का सामना कर रही हो। उसका इद्दत करना अत्यंत आवश्यक है। इस नियम का पालन करना इस्लाम में जरूरी होता है।
शरीयत के मुताबिक इद्दत वह प्रक्रिया है जिसे औरत को पति के मौत के बाद करना पड़ता है। इसमें महिला को अपने शौहर के मौत के बाद कुछ समय के लिए दूसरी शादी नहीं करनी रहती है। साथ ही इस बात का भी ख्याल रखना पड़ता है कि उसके ऊपर गैर मर्द की नजर न पड़े। 4 महीने 10 दिन तक महिला को इस नियम का पालन करना पड़ता है।