लखनऊ। महाकुंभ का आज आखिरी पवित्र स्नान है। इसके साथ-साथ अध्यात्म के सबसे बड़े मेले की समाप्ति हो जाएगी। सुबह 6 बजे तक 41.11 लाख लोग पवित्र संगम में डुबकी लगा चुके हैं। वहीं अब तक 1 करोड़ से ज्यादा क्षद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई हैं। पिछले 44 दिन में 65 करोड़ श्रद्धालुओं ने […]
लखनऊ। महाकुंभ का आज आखिरी पवित्र स्नान है। इसके साथ-साथ अध्यात्म के सबसे बड़े मेले की समाप्ति हो जाएगी। सुबह 6 बजे तक 41.11 लाख लोग पवित्र संगम में डुबकी लगा चुके हैं। वहीं अब तक 1 करोड़ से ज्यादा क्षद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाई हैं। पिछले 44 दिन में 65 करोड़ श्रद्धालुओं ने संगम में स्नान किया है। महाशिवरात्रि पर्व स्नान के साथ ही 45 दिनों तक चले महाकुंभ की समाप्ति हो जाएगी।
आज शिवरात्रि पर 3 करोड़ श्रद्धालुओं के पहुंचने की संभावना है। यानी स्नान का कुल आंकड़ा 66 से 67 करोड़ तक पहुंच जाएगा। संगम में डुबकी लगाने वालों की यह संख्या 193 देशों की जनसंख्या से कही ज्यादा है। केवल भारत और चीन की आबादी महाकुंभ आए श्रद्धालुओं से ज्यादा है। योगी सरकार ने दावा किया कि दुनिया में हिंदुओं की आधी आबादी के बराबर लोग यहां आए हैं। महाकुंभ में आखिरी स्नान को देखते हुए प्रयागराज शहर में 25 फरवरी की शाम से प्रयागराज को नो एंट्री जोन कर दिया है।
मेले के अंदर भी वाहनों को एंट्री नहीं मिल रही है। रात से ही संगम जाने वाले रास्तों पर भारी भीड़ है। संगम घाट पर स्नान के बाद श्रद्धालुओं से घाट खाली कराए जा रहे हैं, ताकि वहां ज्यादा भीड़ न उमड़े। आज महाकुंभ का अंतिम दिन है। संगम पर डुबकी लगाने के लिए भारी भीड़ उमड़ी है। जिन लोगों ने स्नान कर लिया है, वे काफी उत्साहित दिखे और नारे लगाए। बेगूसराय (बिहार) के दीपक ग्रेजुएट हैं। कई नौकरियां ट्राई की, लेकिन सफलता नहीं मिली। अब दीपक अब महाकुंभ में चंदन टीका लगाकर रोजाना एक हजार रुपए कमा रहे हैं।
शंकराचार्य स्वामी अधोक्षजानंद देवतीर्थ महराज के सेक्टर -18 हर्षवर्धन मार्ग पर लगे शिविर में विश्व कल्याण और लोगों की उन्नति के लिए विशाल महायज्ञ जारी है। जहां रोज 101 आचार्य महायज्ञ को कराने में लगे हुए हैं। आज इस महायज्ञ की समाप्ति होगी। यह महायज्ञ पौष पूर्णिमा 13 जनवरी से शुरू हुआ है।