लखनऊ। यूपी के सुल्तानपुर से बीजेपी सांसद मेनका गांधी ने ‘इंटरनेशनल सोसाइटी फॉर कृष्णा कॉन्शसनेस’ यानी ISKCON पर आरोप लगाकर सनसनी मचा दी है। इस सनसनीखेज बयान के बाद वो चारों तरफ से घिरती ही नजर आ रही है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मेनका गांधी के बयान को बड़ी साजिश का हिस्सा बताया है। […]
लखनऊ। यूपी के सुल्तानपुर से बीजेपी सांसद मेनका गांधी ने ‘इंटरनेशनल सोसाइटी फॉर कृष्णा कॉन्शसनेस’ यानी ISKCON पर आरोप लगाकर सनसनी मचा दी है। इस सनसनीखेज बयान के बाद वो चारों तरफ से घिरती ही नजर आ रही है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मेनका गांधी के बयान को बड़ी साजिश का हिस्सा बताया है। वहीं इस्कॉन प्रबंधन भी उनके बयान से नाराज है। जिसके बाद मेनका गांधी के खिलाफ 100 करोड़ की मानहानि का नोटिस जारी किया गया है।
बता दें कि मेनका गांधी का एक वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें उन्होंने इस्कॉन पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि ISCON अपनी गोशाला की गायों को कसाइयों के हाथों बेचता है। उनके इस बयान पर हंगामा शुरू हो गया है। उनके बयान से शुरू हुआ बवाल थमने का नाम नहीं ले रहा। इसी कड़ी में संस्था ने नाराजगी जताते हुए सुल्तानपुर सांसद को मानहानि का नोटिस भेजा है। बीजेपी सांसद के आरोप पर इस्कॉन कोलकाता के उपाध्यक्ष राधारमण दास ने कहा कि मेनका गांधी के बयान से दुनिया भर के हमारे भक्त आहत हुए हैं। जिसके बाद इस्कॉन उनके खिलाफ कार्रवाई करने जा रही है।
राधारमण दास ने आगे कहा कि मेनका गांधी को हमने मानहानि के मामले में 100 करोड़ रुपये का क़ानूनी नोटिस भेजा है। एक सांसद, एक पूर्व केंद्रीय मंत्री होकर वो बिना किसी सबूत के इतना बड़ा झूठ कैसे बोल सकती हैं। बता दें कि इस्कॉन ने मेनका गांधी के आरोपों का खंडन करते हुए कहा है कि संगठन न केवल भारत बल्कि दुनिया भर में गाय- बैल की रक्षा एवं देखभाल करता है। यहां पर गाय-बैल की सेवा की जाती है।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने इस्कॉन मुद्दों पर सरकार को घेरा। उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा कि भाजपा के लोग गोपालक भगवान कृष्ण के उपासकों पर ही कसाइयों को गाय बेचने का वीभत्स आरोप लगा रहे हैं। विश्वभर के ISKCON के अनुयायी इस आरोप से व्यथित और दुखी हैं। भाजपा सरकार को स्पष्टीकरण देना ही होगा क्योंकि इसका संबंध सिर्फ़ प्रदेश व देश से ही नहीं है बल्कि अंतरराष्ट्रीय छवि से भी है क्योंकि कृष्ण चेतना को समर्पित ISKCON का विस्तार सम्पूर्ण विश्व में है। इस्कॉन पर आरोप किसी बड़े षड्यंत्र का संकेत है।