Sunday, November 10, 2024

विधायक मदन भैया ने पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की 37वीं पुण्यतिथि पर दी श्रद्धांजलि, कार्यकर्ताओं ने लिया संकल्प

लखनऊ। आज भारत रत्न से सम्मानित एवं भूतपूर्व प्रधानमंत्री स्व. चौधरी चरण सिंह की 37वीं पुण्यतिथि है। जिसे लेकर बुधवार (29 मई) को सुबह 08:30 बजे, बंथला गांव में स्व. चौधरी चरण सिंह की पुण्यतिथि मनाई गई। इस अवसर पर विधायक मदन भैया ने चौधरी चरण की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की और राष्ट्रीय लोकदल की समस्त टीम और उपस्थित जन समूह को चौधरी साहब के विचारों को जन-जन तक पहुंचाने की अपील की ।

भूतपूर्व प्रधानमंत्री की प्रतिमा पर माल्यार्पण

इस मौके पर लोनी विधानसभा के क्षेत्रवासियों के अलावा राष्ट्रीय लोकदल की समस्त टीम ने भूतपूर्व प्रधानमंत्री स्व. चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। साथ ही सभी ने ये शपथ ली कि आरएलडी का प्रत्येक कार्यकर्ता उनके विचारों को जन-जन तक पहुंचाने और आत्मसात करने का प्रयास करेगा।

पुण्यतिथि के अवसर पर ये रहे मौजूद

भूतपूर्व प्रधानमंत्री की पुण्यतिथि के इस अवसर पर राष्ट्रीय लोकदल लोनी विधान सभा अध्यक्ष इंद्रपाल कसाना, नगर अध्यक्ष अफजल भैया, जिला महासचिव अमित त्यागी, महासचिव युवा लोकदल आदेश धामा, मुरारी लाल लोहरा, मनवीर प्रधान बंथला, जवाहरलाल मास्टर, जयपाल चौधरी, संजीव जंगाला नरेश चौधरी और विकास चौधरी सुधीर तोमर मौजूद रहे।

इसके अलावा सोनू पोसवाल, विपिन त्यागी नकुल त्यागी, दीपक कश्यप, मैनपाल अधाना, बलबीर सिंह, मास्टर शोभाराम सभासद मनवीर बंसल, बृजपाल मास्टर जी, मास्टर मोहनबीर पाल, रोहित पाल, दिलबाग गोस्वामी, अजीत कुमार, जोनी त्यागी मोतीलाल चौरसिया, मोनू माहेश्वरी, डी. डी. पाठक, अमित खटीक, अनुज चौधरी बंथला, अमर सिंह पांचाल और महेश ठाकुर आदि कार्यकर्ता उपस्थित रहे।

इसी साल भारत रत्न से किया गया सम्मानित

बता दें कि इसी साल 9 फरवरी 2024 प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पूर्व प्रधानमंत्री स्व. चौधरी चरण सिंह को सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार भारत रत्न देने की घोषणा की थी। उन्होंने स्वर्गीय चौधरी चरण सिंह की प्रशंसा करते हुए कहा था कि हमारी सरकार का यह सौभाग्य है कि देश के पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह जी को भारत रत्न से सम्मानित किया जा रहा है। यह सम्मान देश के लिए उनके अतुलनीय योगदान को समर्पित है।

उन्होंने किसानों के अधिकार और उनके कल्याण के लिए अपना पूरा जीवन समर्पित कर दिया था। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे हों या देश के गृहमंत्री और यहां तक कि एक विधायक के रूप में भी, उन्होंने हमेशा राष्ट्र निर्माण को गति प्रदान की। वे आपातकाल के विरोध में भी डटकर खड़े रहे। हमारे किसान भाई-बहनों के लिए उनका समर्पण भाव और इमरजेंसी के दौरान लोकतंत्र के लिए उनकी प्रतिबद्धता पूरे देश को प्रेरित करने वाली है।

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